- ऑनलाइन पालियों में एग्जाम लेना गलत है क्योंकि पालियों में पेपर लेने से समानता के अधिकार का उल्लंघन होता है
- ऑनलाइन एग्जाम का प्रिंट आउट ना देना - व्यापम की सभी परीक्षाओं में जो भी ऑनलाइन होती हैं उनमें प्रिंटआउट देना आवश्यक है क्योंकि प्रिंटआउट ना होने से व्यापम के पेपर में क्लेम नहीं किया जा सकता 100 या 200 प्रश्न रिमेंबर होना मुश्किल होता है
- मध्यप्रदेश शासन बेरोजगारों को किसी प्रकार का बेरोजगारी भत्ता नहीं देती है, इसके बावजूद किसी भी परीक्षा के लिए व्यापम से 600 रुपए तक एग्जाम फीस वसूली जाती है तथा परीक्षा सेंटर दूरदराज दिए जाते हैं जबकि किसी भी परीक्षा के लिए जिला मुख्यालय से मैक्सिमम 30 किलोमीटर के दायरे के अंदर परीक्षा केंद्र होना चाहिए परीक्षा केंद्र का पहुंच मार्ग साफ सुथरा होना चाहिए लेकिन ऐसा पाया गया है परीक्षा दूरदराज सेंटरों में संचालित की जाती है जहां किसी प्रकार का वाहन सुविधा उपलब्ध नहीं है
- यदि ऑनलाइन परीक्षा में नंबर तुरंत बताए जा सकते हैं तो रिजल्ट तुरंत क्यों नहीं बताया जा सकता इस बात का भी व्यापम से कैंडिडेट को जवाब चाहिए ?
- पेपर से 1 घंटे पहले ही इंट्री क्यों बंद की जाती है ? यह भी एक सवाल है इसका भी परीक्षार्थियों को जवाब चाहिए क्योंकि इसका दुष्परिणाम परीक्षार्थी निरंतर भुगत रहे हैं
हाल ही में पुलिस आरक्षक की परीक्षाएं व्यापम द्वारा कई पालियों में आयोजित की जा रही है जिसमें पाया गया है कि परीक्षार्थी बेहद परेशान हो रहे हैं खासकर इस बात से परेशान हैं कि यदि वह एंट्री टाइम लेवल से 1 मिनट भी लेट हो जाते हैं उन्हें परीक्षा से वंचित होना पड़ रहा है जो कि सरासर गलत है यदि व्यापम 1 घंटे पहले ही इंट्री रोक देता है तो इसकी मुख्य वजह क्या है इस बात को व्यापम द्वारा स्पष्ट किया जाना चाहिए
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